
चंदौली। उत्तर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष अजय राय के निर्देशानुसार कांग्रेस ने संपूर्णानंद स्पोर्ट्स स्टेडियम का नाम बदले जाने के विरोध में राष्ट्रपति को संबोधित ज्ञापन जिलाधिकारी को सौंपा। कांग्रेस जिलाध्यक्ष धर्मेन्द्र तिवारी के नेतृत्व में यह विरोध प्रदर्शन किया गया, जिसमें कांग्रेसजनों ने सिगरा स्टेडियम से संपूर्णानंद का नाम हटाने को काशी की विद्वत परंपरा और नैतिक मूल्यों का अपमान बताया।
जिलाध्यक्ष धर्मेन्द्र तिवारी ने कहा कि हाल ही में प्रधानमंत्री द्वारा वाराणसी के पुराने प्रतिष्ठित स्टेडियम के आधुनिकीकरण का उद्घाटन किया गया, लेकिन स्टेडियम से बाबू संपूर्णानंद का नाम हटा दिया गया। उन्होंने इस निर्णय को काशी और उसकी गौरवशाली विरासत का अपमान बताया और कहा कि इससे काशी के लाखों लोग आहत हुए हैं। संपूर्णानंद जी जैसे महान मनीषी और स्वतंत्रता सेनानी का नाम हटाना न केवल उनकी, बल्कि काशी की विद्वत परंपरा और नैतिक मूल्यों का भी अपमान है। उन्होंने कहा कि यह वही सरकार है, जिसने सरदार पटेल गुजरात स्टेडियम का नाम बदलकर नरेंद्र मोदी स्टेडियम कर दिया था, और अब काशी के प्रतिष्ठित स्टेडियम से संपूर्णानंद का नाम हटा दिया गया। उन्होंने प्रधानमंत्री से इस फैसले पर पुनर्विचार करने और बाबू संपूर्णानंद स्पोर्ट्स स्टेडियम का नाम फिर से बहाल करने की अपील की।
कांग्रेस ने इस मुद्दे पर विरोध तेज करने का ऐलान किया है। शहर अध्यक्ष रामजी गुप्ता ने इसे नैतिक जिम्मेदारी बताते हुए कहा कि काशी की भावनाओं का सम्मान किया जाना चाहिए। इस मौके पर डॉ. नारायण मूर्ति ओझा, मधु राय, रजनीकांत पांडेय, गंगा प्रसाद, अरुण द्विवेदी, प्रदीप मिश्रा, हसन खान, नवीन पांडेय, दशरथ चौहान, माधवेंद्र मूर्ति ओझा, अतुल कुमार पांडेय, शिवेंद्र मिश्रा, परमानंद पटेल, सत्येंद्र उपाध्याय,इंद्रजीत मिश्रा, प्रकाश शर्मा, सलीम उर्फ पप्पू आदि मौजूद रहे।