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चंदौलीराज्य/जिलासंस्कृति एवं ज्योतिष

चंदौलीः हथिनिया व डुगडुगवा पहाड़ों के बीच स्थापित बाबा जागेश्वर नाथ धाम, बनते हैं बिगड़े काम, दो दिवसीय मेले का होगा आयोजन

REPORTER: कार्तिकेय पांडेय

चंदौली। चकिया क्षेत्र के हेतिमपुर गांव स्थित याज्ञवल्क्य की तपोभूमि स्थित बाबा जागेश्वर नाथ धाम शिवालय डुगडुगवा व हथिनिया पहाड़ों से घिरा दिव्य शिवालय है। इसकी गिनती प्रमुख शिवालयों में होती है। स्वयंभू शिवलिंग का झुकाव सीधे तौर पर इस बात की ओर इशारा करता है।

प्राचीन समय से ही महाशिवरात्रि के अवसर पर धाम के पावन परिसर में विशाल मेले का आयोजन किया जाता है। हजारों नर-नारी पारंपरिक परिधान में सज धज कर बाबा के दरबार में स्वयंभू शिवलिंग पर जलाभिषेक, दुग्धाभिषेक करते हुए मत्था टेकते हैं। शिवालय की कहानी पुरानी अभिलेखों में आज भी कायम है। एशिया में स्थान रखने वाले पीडीडीयू नगर रेलवे जंक्शन से बाबा जागेश्वर नाथ धाम की दूरी 37 किमी है। महाशिवरात्रि के अवसर पर बाबा धाम में स्वयंभू शिवलिंग के दर्शन पूजन तथा जलाभिषेक व दुग्ध अभिषेक के लिए जनपद सहित अन्य जनपदों से भक्तों का सैलाब उमड़ता है। महर्षि याज्ञवल्क्य की तपोभूमि हेतिमपुर स्थित बाबा जागेश्वर नाथ धाम जनपद का अनोखा धाम है। यहां भगवान शिव लिंग स्वयंभू के नाम से विद्यमान हैं। जहां शिव भक्त दर्शन करने के लिए उत्साह पूर्वक पहुंचते हैं।

जागेश्वर नाथ धाम में दो दिवसीय मेला
महाशिवरात्रि के अवसर पर क्षेत्र के हेतिमपुर स्थित बाबा जागेश्वर नाथ धाम परिसर में वर्षों से जारी परंपरागत मेला पहली और दूसरी तारीख को लगेगा। इसके लिए मेला समिति द्वारा तैयारियां पूरी कर ली गई हैं। शिवरात्रि को लगने वाला मेला अद्भुत रहता है।

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