
चंदौली। नगर पंचायत सभागार में बुधवार को भारत के पूर्व प्रधानमंत्री स्वर्गीय विश्वनाथ प्रताप सिंह की जयंती बड़े ही श्रद्धा और सम्मान के साथ मनाई गई। इस अवसर पर उनके चित्र पर माल्यार्पण कर श्रद्धांजलि अर्पित की गई और उनके संघर्षमय जीवन से प्रेरणा लेने का संकल्प दोहराया गया।
कार्यक्रम की शुरुआत स्व. वीपी सिंह की पौत्री ऋचा सिंह और पूर्व मंत्री सुरेंद्र पटेल द्वारा दीप प्रज्वलन व माल्यार्पण कर की गई। इसके बाद आयोजित गोष्ठी में वक्ताओं ने उनके संघर्ष, त्याग और सामाजिक समरसता के प्रति समर्पण पर प्रकाश डाला। सांस्कृतिक कार्यक्रमों के माध्यम से श्रीराम यादव, ग्राम प्रधान वीरेंद्र यादव और केशव राजभर ने उनके जीवन और विचारों को जीवंत रूप में प्रस्तुत किया।
पूर्व मंत्री सुरेंद्र पटेल ने अपने संबोधन में कहा कि “स्वर्गीय विश्वनाथ प्रताप सिंह ने मंडल आयोग लागू कर पिछड़े और दलित वर्ग को सामाजिक पहचान दी। उनके पदचिन्हों पर चलना ही उनके प्रति सच्ची श्रद्धांजलि होगी।”
ऋचा सिंह ने कहा, “राजघराने में जन्म लेने के बावजूद उन्होंने गरीब, दलित और वंचित वर्ग की आवाज को बुलंद किया। उन्होंने सामाजिक न्याय की ऐसी नींव रखी, जिससे वंचित वर्ग को राजनीतिक और आर्थिक पहचान मिली।”
पूर्व जिला भूमि संरक्षण अधिकारी इंजीनियर राम केश सिंह यादव ने कहा कि “वीपी सिंह ने गरीबों के लिए सत्ता तक का त्याग कर दिया। उनके फैसले आज भी समाज में सामाजिक न्याय के स्तंभ माने जाते हैं।”
पूर्व एमएलसी अरविंद सिंह ने आह्वान किया कि “हमें उनके दिखाए मार्ग पर चलकर समाज में समता और न्याय स्थापित करना होगा।”
सियाराम चौहान ने इस ऐतिहासिक संयोग पर कहा, “आज ही के दिन 1975 में इंदिरा गांधी ने इमरजेंसी लगाई थी, और यह भी संयोग है कि आज उस मसीहा का जन्मदिन है, जिन्होंने गरीबों के हक के लिए आवाज बुलंद की।”
इस अवसर पर डॉ. दीपक सिंह, महेंद्र यादव, तिलकधारी बिंद, इंद्रजीत शर्मा, हरिदास यादव, श्रवण कुशवाहा, कैलाश यादव समेत कई गणमान्य व्यक्ति उपस्थित रहे। कार्यक्रम की अध्यक्षता रामकेश सिंह यादव ने की और संचालन राकेश सिंह ने किया।