
चंदौली। ज़िला काग्रेस कमेटी की ओर से सोमवार को भाजपा सरकार द्वारा महात्मा गाधी राष्ट्रीय रोज़गार गारंटी योजना का नाम बदलकर उसको समाप्त किए जाने के विरूद्ध पैदल मार्च निकालकर विरोध प्रदर्शन किया और सभा की।
अखिल भारतीय काग्रेस कमेटी के सदस्य देवेंद्र प्रताप सिंह मुन्ना ने कहा कि मनरेगा काग्रेस सरकार द्वारा,देश के मज़दूरों, ग़रीबों के कल्याण के लिए बनाई गई,विश्व की सबसे बड़ी जन कल्याणकारी योजना है। जिसको भाजपा सरकार नाम बदलने के बहाने समाप्त कर रही है। इससे भाजपा सरकार का ग़रीब मज़दूर विरोधी चेहरा उजागर होता है। कहा कि मनरेगा केंद्र सरकार द्वारा संचालित योजना थी,अब नई योजना के तहत उसमें 40 प्रतिशत धन राज्यों को देना होगा। अब जहा कई राज्य पहले से ही आर्थिक तंगी से जूझ रहे हैं वहा कर्ज़ से बचने के लिए या आर्थिक बोझ के चलते मनरेगा के बजट में कटौती स्वाभाविक है, जिससे स्वतः ही यह योजना खटाई में चली जायेगी।
ज़िलाध्यक्ष अरुण द्विवेदी ने कहा कि भाजपा सरकार द्वारा मनरेगा को निरस्त करने का निर्णय एक अत्यंत चिंताजनक व सुनियोजित कदम है। यह कोई सामान्य विधाई प्रक्रिया नहीं है, यह एक ऐतिहासिक अधिकार आधारित जन क़ानून को कमजोर करने और भारत के सबसे ज़्यादा लोकप्रिय कल्याणकारी योजना से महात्मा गाधी के नाम व मूल्यों को मिटाने का सोचा समझा राजनीतिक प्रयास है। शहर अध्यक्ष बृजेश गुप्ता,मधु राय , सतीश बिंद ,गंगा प्रसाद, राजेंद्र गौतम रजनी कांत पांडे रियाजउद्दीन इक़बाल अहमद सहित सैकड़ो कांग्रेस जन उपस्थित थे। संचालन शिवेंद्र मिश्रा ने किया।

