चंदौली। नगर पंचायत सैयदराजा ( Nagar Panchayat Saiyadaraja)अध्यक्ष पद की सीट इस दफा अनारक्षित है। किसी भी वर्ग का व्यक्ति नगर अध्यक्ष के लिए अपनी दावेदारी प्रस्तुत कर सकता है। हालांकि एक दुर्भाग्य है जो नगर पंचायत सैयदराजा के साथ पिछले 25 वर्षों से जुड़ा है। शासन स्तर से एक दफा भी यहां की सीट महिला या अनुसूचित वर्ग के लिए आरक्षित नहीं की गई। आधी आबादी को कसक है कि सरकार ने उन्हें नुमाइंदगी का मौका नहीं दिया। बहरहाल सैयदराजा के चर्चित चिकित्सक डा. गोपाल सिंह की पत्नी और बीजेपी नेता मीना सिंह ने डीएम के यहां आपत्ति दाखिल कर दी है।
तकरीबन 1989 में अस्तित्व में आई नगर पंचायत सैयदराजा में पहली दफा अध्यक्ष पद की सीट सामान्य रही। इसरार अहमद पहले नगर पंचायत अध्यक्ष रहे। हालांकि इनका कार्यकाल महज डेढ़ वर्ष का रहा। दूसरी दफा पिछड़ा वर्ग के लिए आरक्षित सीट पर मदन प्रसाद अध्यक्ष बने। 2000 और 2006 में लगातार दो दफा अध्यक्ष पद की सीट पिछड़ा वर्ग के लिए आरक्षित रही। अरविंद कुमार और शंकर जायसवाल क्रमश अध्यक्ष बने। 2012 में सीट सामान्य हुई तो इम्तियाज खान अध्यक्ष चुने गए। 2017 में यहां की सीट एक बार फिर पिछड़ा वर्ग के लिए आरक्षित हुई। भाजपा समर्थित विरेंद्र जायसवाल अध्यक्ष बने। यानी नगर पंचायत सैयदराजा का अध्यक्ष पद एक दफा भी महिला या अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित नहीं हुआ। भाजपा नेता मीना सिंह ने जिलाधिकारी ईशा दुहन के यहां आपत्ति दाखिल करते हुए नगर पंचायत सैयदराजा की सीट महिला के लिए आरक्षित करने की मांग की है।